सूरजपुर। कलेक्टर एस. जयवर्धन एवं मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत कमलेश नन्दनी साहू के निर्देशन तथा जिला शिक्षा अधिकारी, भारती वर्मा एवं जिला मिशन समन्वयक, शशिकान्त सिंह के मार्गदर्शन में आज दिनांक 25.05.2025 को जिले के विभिन्न विद्यालयों में देवी अहिल्याबाई होल्कर के जयन्ती के अवसर पर देवी अहिल्याबाई होल्कर के छाया चित्र पर धूप दीप एवं माल्यार्पण कर विविध कार्यक्रम आयोजित किये गये। देवी अहिल्याबाई होल्कर का ( जन्म 31 मई 1725 एवं मृत्यु 13 अगस्त 1795) 18वीं शताब्दी की असाधारण शासक और लोकमाता थी, उनमें कुशल प्रशासक, न्यायप्रीय, दुरदर्शी सोच,
जनकल्याणकारी कार्य, वीर योद्वा सैन्य रणनीतिकार, धार्मिक एवं नैतिक आचरण, महिला सशत्तिकरण की समर्थक तथा उन्होने पूरे भारत में 300 से अधिक मंदिरों और अन्य धार्मिक संस्थानों का निर्माण और जीर्णोधार करवाया, जिनमें काशी विश्वनाथ और सोमनाथ मंदिर प्रमुख हैं। सामाजिक सुधार रूप में स्कूलों और अस्पतालों की स्थापना की जिससे शिक्षा और स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार हुआ। उन्हें लोकमाता, पुण्यश्रलोका और न्याय की देवी जैसे विशेषणों से सम्मानित किया जाता है। उनका जीवन, कार्य और उपलब्धीयां भारतीय इतिहास में प्रेरणा का स्त्रोत हैं। जिले के कस्तुरबा गान्धी आवासीय विद्यालयों, पी.एम. श्री विद्यालयों, सेजेस विद्यालयों, प्रा.शा., मा.शा. हाई स्कूल एवं हायरसेकेण्डरी विद्यालयों में देवी अहिल्याबाई होल्कर के छाया चित्र पर धूप दीप एवं माल्यार्पण कर छात्रों के प्रतिभावों के विकास हेतु विभिन्न प्रकार से देवी अहिल्याबाई होल्कर के प्रेरणादायक जीवन परिचय, पोस्टर मेंकिंग, जीवनी पर आधारित निबन्ध प्रतियोगिता, चित्रकला प्रतियोगिता, रंगोली प्रतियोगिता, भाषण प्रतियोगिता, कहानी का आयोजन तथा विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम छात्र छात्राओं से आयोजित कर बच्चो को पुरस्कृत करते हुये उनके उज्जवल भविष्य की कामना किया गया।

इस अवसर पर कई विद्यालयों में शिक्षकों एवं पालकों के द्वारा बच्चों को गीत संगीत सिखाया गया एवं देवी अहिल्याबाई होल्कर के जयन्ती संगीत के माध्यम से भी मनाया गया। देवी अहिल्याबाई होल्कर के जयन्ती कार्यक्रम में विद्यालय के शाला प्रबंधन के सदस्य, जन प्रतिनिधी, पालक, प्राचार्य, प्रधान पाठक, शिक्षक, शिक्षिकायें एवं छात्र छात्राओं के उपस्थिति में हर्षोउल्लास के साथ मनाया गया तथा उनके प्रेरणादायक जीवनी से सीख लेकर समाज सुधार हेतु प्रेरणा लिया गया।

















